पारखी नजरें--
हर गोल चीज चाँद नहीं होती।
हर पीली चीज सोना नहीं होती।
हर पत्थर नगीना नहीं होता।
परख ही लेती हैं पारखी नजरें,
जिसको जिसकी चाहत होती है।
डॉ. मंजूश्री गर्ग
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