Sunday, September 23, 2018




23 सितंबर, सन् 2018 ई0 राष्ट्र कवि रामधारी सिंह दिनकर
के
जन्म-दिन
पर
शत्-शत् नमन

साँस में सौरभ, तुम्हारे वर्ण में गायन भरा है.
सींचता हूँ प्राण को इस गन्ध की भीनी लहर से,
और अंगों की विभा की वीचियों से एक होकर
मैं तुम्हारे रंग का संगीत सुनता हूँ.

                                                      रामधारी सिंह दिनकर


No comments:

Post a Comment